हामी अछामी हाम्रो अछाम
पहाडी थकान बिर्साउने गुरौसिफुल
Saturday, September 8, 2012
राधाकी संगीनि है कि, गाई की ग्वाली है ? धेकी झल्को लौन्या है कि, पिरती वाली है???
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